मुल्ला का ख्याली पुलाव

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एक दिन मुल्ला अपने सिर पर एक टोकरी लिए घर की तरफ आ रहा है और किसी ने पूछाः इसमें क्या है? तो उसने कहा: इसमें एक नेवला लाया हूं पकड़कर। “नेवला!’ उस आदमी ने पूछा–“नेवला किसलिए पकड़ कर लाए हो?’ उसने कहा कि जब मैं शराब पी लेता हूं ज्यादा तो मुझे सांप दिखायी पड़ते हैं। तो नेवले को कमरे में रखूंगा। यह निपट लेगा सांपों से। कहते हैं न कि नेवला तो सांप को टुकड़े-टुकड़े कर देता है! इसलिए ला रहा हूं।

वह आदमी हंसा। वह बोला: लेकिन शराब पीकर जो सांप दिखते हैं, वे सच थोड़े ही होते हैं, वे झूठ होते हैं। मुल्ला हंसा और बोला: तुम क्या समझते हो, इस में नेवला सच है? खाली टोकरी, सिर्फ ख्याल।

 

अजहूं चेत गंवार

संत पलटूदास-वाणी, प्रवचन-२१,

ओशो